बरेली। राजकीय माध्यमिक विद्यालयों की दशा सुधारने के लिए विभाग ने नई कवायद शुरू की है। विभाग ने तय किया है कि निदेशालय व जिला स्तर के समूह (क) के अधिकारी कक्षा 6 से – 12 तक के एक-एक विद्यालय को गोद लेंगे। वे इन विद्यालयों में सभी सुविधाएं उपलब्ध करा कर उन्हें आदर्श बनाएंगे। शासन व माध्यमिक शिक्षा विभाग राजकीय माध्यमिक विद्यालयों को बेहतर बनाने के लिए लगातार प्रयास कर रहा है।
इसी क्रम में अब समूह (क) के अधिकारी हाईस्कूल व इंटर के विद्यालयों को गोद लेकर बुनियादी सुविधाएं बेहतर करेंगे। महानिदेशक स्कूली शिक्षा कंचन वर्मा ने संबंधित अधिकारियों को पत्र भेजकर कहा है कि निदेशालय स्तर के अधिकारी निदेशालय या उसके आसपास के जिलों के एक विद्यालय का चयन करेंगे। मंडल स्तर के अधिकारी अपने मंडल या पास के जिले के विद्यालय का व जिला स्तर के अधिकारी अपने जिले के एक विद्यालय का चयन करेंगे।
अधिकारी ऐसे विद्यालयों को गोद लेंगे, जहां मूल-भूत संसाधनों की जरूरत हो। गोद लिए गए विद्यालयों की कमियों को केंद्र, राज्य, स्थानीय योजनाओं से दूर कराएंगे। साथ ही प्रोजेक्ट अलंकार जैसी योजनाओं को भी प्रभावी कराएंगे। उन्होंने कहा है कि यह कवायद इसलिए भी की जा रही है कि इसका असर विद्यालयों के शिक्षकों व स्थानीय लोगों पर भी पड़े और वे भी स्कूलों के विकास में सहयोग करें। उन्होंने विभाग के संबंधित अधिकारियों से गोद लेने वाले विद्यालयों का चयन कर 20 अगस्त तक सूचना उपलब्ध कराने को कहा था।
लेकिन जनपद में अभी तक इस कवायद को पूरा नहीं किया जा सका है। अब देखना होगा कि समूह (क) के अंतर्गत निदेशालय स्तर पर उप शिक्षा निदेशक, सहायक शिक्षा निदेशक, संयुक्त शिक्षा निदेशक, अपर शिक्षा निदेशक, सचिव व निदेशक आते हैं वहीं जिला व मंडल स्तर पर डीआईओएस, मंडलीय संयुक्त शिक्षा निदेशक, उप शिक्षा निदेशक, मंडलीय सहायक शिक्षा निदेशक आदि अधिकारी सम्मिलित किए गए हैं।